सेना की मेनुवर रेंज स्थापित करने का मार्ग प्रशस्त

Share:-


जैसलमेर करीब 20 सालो से भारतीय सेना द्वारा अपने ट्रेनिंग, युद्ध कौशल को बेहतर बनाने व सामरिक शक्ति को मजबूत करने के लिए जैसलमेर के शाहगढ़ बल्ज क्षेत्र में मेनूवर रेंज में मांगी जा रही भूमि की मांग अब पूरी होने जा रही हैं। राजस्थान सरकार की केबीनेट की हुई बैठक में जैसलमेर जिला कलेक्टर द्वारा भेजे गए प्रस्तावो को मुख्यमंत्री ने मंजूरी प्रदान की, इससे सेना की मेनुवर रेंज स्थापित करने का मार्ग प्रशस्त हो गया हैं। सेना द्वारा राशि अदा करने पर लैंड अलाॅटमेंट की कार्यवाही प्रारंभ हो जायेगी।

असल में जैसलमेर के शाहगढ़ व गैराजा क्षेत्र में भारतीय सेना द्वारा मेनुवर रेंज स्थापित करने के लिए प्रस्ताव 2003 – 04 में तत्कालीन जिला कलेक्टर के पास भिजवाये गए थे, लेकिन उस समय उस क्षेत्र में ओ.एन.जी.सी व अन्य तेल कंपनियों द्वारा बड़े पैमाने पर आॅयल गैस एक्सप्लोरेशन का कार्य किया जा रहा था व केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्रालय द्वारा उस समय इस क्षेत्र में मेनुवर रेंज की स्थापना के लिए आपति जाहिर करने के बाद यह प्रस्ताव ठंडे बस्ते में चला गया था। हालांकि रक्षा मंत्रालय में इस संबंध में काफी प्रयास किये थे लेकिन रेंज स्थापित करने का यह कार्य में अड़चने आने से उस समय स्थगित कर दिया गया। बताया जाता हैं कि गत 7 दिसंबर 2022 को पुनः जैसलमेर के सैन्य स्टेशन में जिला कलेक्टर को एक पत्र भेजकर मेनुवर रेंज के लिए भूमि अलाॅट करने की मांग की थी जिस पर तत्कालीन जिला कलेकटर द्वारा यह प्रस्ताव 19 मार्च 2023 को राज्य सरकार को भेजे गए। इसके बाद गत 20 सितंबर को केबीनेट की हुई बैठक में भूमि आवंटन के प्रस्ताव का अनुबोधन कर दिया गया।

जिला कलेक्टर आशीष गुप्ता ने इसकी पुष्टि करते हुवें बताया कि जैसलमेर मिल्ट्री स्टेशन हैड क्वार्टर द्वारा जैसलमेर के सम तहसील के शाहगढ़, गेराजा व अड़किया में 7872.6319 हैक्टेयर भूमि आवंटन के लिए प्रस्ताव भिजवाये थे जिसपर 19 मार्च को तत्कालीन जिला कलेक्टर द्वारा राज्य सरकार को प्रस्ताव भेजे गए थे तथा गत बुधवार को ही केबीनेट बैठक में इन प्रस्तावो को अनुबोधन किया गया हैं। इस संबंध में राजस्व विभाग से राजकीय स्वीकृति प्राप्त होने पर निर्देशानुसार भूमि का आवंटन कर कब्जा सुपुर्द किया जायेगा।

गौरतलब हैं कि सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण सरहदी जिले जैसलमेर में थल सेना,वायु सेना व सीमा सुरक्षा बल पूर्ण रूप से मुस्तेद हैं और समय-समय पर सभी अपने युद्ध कौशल को परखने के लिए एक्सरसाइज भी की जाती रही हैं। अपनी आवश्यकताओ के मुद्देनजर तथा अपने सामरिक शक्ति को मजबूत करने के लिए सेना की इन जरुरतो को जिला प्रशासन द्वारा राज्य सरकार से रुबरु करवाया गया।

वर्तमान में जैसलमेर में एशिया की सबसे बड़ी फील्ड फायरिंग रेंज जिले के पोकरण क्षेत्र में स्थित हैं जहांपर सेना व वायुसेना द्वारा 12 महीनो फायरिंग प्रेक्टिस व मारक क्षमता को मजबूत करने की एक्टिविटी की जाती हैं। यहां पर छोटे बड़े हथियारो की फायरिंग के साथ वायुसेना द्वारा भी अपने लड़ाकू विमानो द्वारा की गई बाॅम व मिसाईल फायरिंग की एक्सरसाईज की जाती हैं लेकिन सेना के पास एक ऐसी रेंज की आवश्यकता थी जिसमें वो बगैर फायरिंग के अपने नये व पुराने हथियारो व साजो समान के साथ ट्रेनिंग कर सके जो अब जैसलमेर की शाहगढ़ बल्ज में पूरी होने जा रही हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *